किसानों के कृषि इंफ्रा फंड ब्याज सब्सिडी दावों में तेजी लाने के लिए नया पोर्टल
इस पोर्टल को कृषि एवं किसान कल्याण विभाग (डीएएंडएफडब्ल्यू) तथा राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) द्वारा संयुक्त रूप से विकसित किया गया है।
कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय ने एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा कि 72,000 करोड़ रुपये का निवेश जुटाया गया है, जिसमें से एआईएफ के तहत अब तक 67,871 परियोजनाओं के लिए 43,000 करोड़ रुपये स्वीकृत किए जा चुके हैं।
चौहान ने कहा, “क्रेडिट दावों के लिए हाल ही में शुरू की गई स्वचालन प्रणाली से एक दिन के भीतर दावों का समय पर निपटान सुनिश्चित होगा, जबकि अन्यथा मैन्युअल निपटान में महीनों लग जाते हैं।”
इस पोर्टल का उपयोग बैंकों, डीएएंडएफडब्ल्यू की केंद्रीय परियोजना प्रबंधन इकाई (सीपीएमयू) और नाबार्ड द्वारा किया जाएगा।
केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि स्वचालित प्रणाली पोर्टल के माध्यम से सटीक पात्र ब्याज अनुदान की गणना करने, मैनुअल प्रसंस्करण में संभावित मानवीय त्रुटि से बचने और दावों के तेजी से निपटान की सुविधा प्रदान करने में मदद करेगी।
एआईएफ योजना को 2020 में शुरू किया गया था, जिसका उद्देश्य नुकसान को कम करने, किसानों के लिए बेहतर मूल्य प्राप्त करने, कृषि में नवाचार को बढ़ावा देने और कृषि बुनियादी ढांचे के निर्माण के लिए निवेश आकर्षित करने के लिए फसल-उपरांत प्रबंधन बुनियादी ढांचे का विकास करना है, जिसमें 2025-26 तक बैंकों और वित्तीय संस्थानों के माध्यम से 1 लाख करोड़ रुपये का कुल परिव्यय है।
इस योजना के तहत लाभार्थियों को बैंकों द्वारा दिए गए 2 करोड़ रुपये तक के ऋण पर अधिकतम 7 वर्षों की अवधि के लिए 3 प्रतिशत ब्याज सब्सिडी प्रदान की जाती है, इसके अलावा बैंकों द्वारा भुगतान की गई ऋण गारंटी फीस की प्रतिपूर्ति भी की जाती है।
चौहान ने कृषि कथा नामक एक ब्लॉग साइट भी लांच की, जिसका उद्देश्य भारतीय किसानों की आवाज को प्रदर्शित करने के लिए एक डिजिटल मंच के रूप में काम करना है, जो देश भर के किसानों के अनुभवों, अंतर्दृष्टि और सफलता की कहानियों को बढ़ाने के लिए समर्पित है।
केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री ने कहा, “भारतीय कृषि के विशाल और विविधतापूर्ण परिदृश्य में किसानों की आवाज़ें और कहानियाँ अक्सर सामने नहीं आती हैं। हर फसल, हर खेत और हर फसल के पीछे लचीलेपन, संघर्ष, चुनौतियों और जीत की कहानी छिपी होती है। ‘कृषि कथा’ का उद्देश्य एक व्यापक और मनोरंजक कहानी कहने का मंच प्रदान करना है, जहाँ भारत के कृषि समुदाय की कहानियों को साझा किया जा सके और उनका जश्न मनाया जा सके।”